eid-ul-ajaha 17 june
Highlights
ईद-उल-जुहा क्या हैं।
ईद उल-अजहा के मायने क्या हैं।
ईद उल-अजहा कुर्बानी क्यों जरूरी हैं।
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Eid ul-Azha Festival : मुस्लिम समुदाय का पारंपरिक त्योहार ईद उल-अजहा, ईद-उल-जुहा या बकरीद वर्ष 2024 में 17 जून, सोमवार को मनाई जाएगी। यह मुसलमानों का प्रमुख त्योहार माना गया है। इस बार 16 जून, रविवार की शाम से 17 जून, सोमवार तक।
इस त्योहार पर नए कपड़े, खजूर, बकरे और सेवईयां आदि खरीदकर ऐसे मनाते हैं, इन दिनों मुस्लिम क्षेत्र के बाजारों की रौनक बढ़ जाती है।
ईद-उल-जुहा अर्थात् बकरीद पर कुर्बानी देना शबाब का काम माना जाता है। इसलिए इस दिन हर कोई कुर्बानी देता है। मान्यतानुसार इस्लाम धर्म में कुर्बानी का अर्थ है खुद को खुदा के नाम पर कुर्बान कर देना यानी अपनी सबसे प्यारी चीज का त्याग करना।
अतः मुस्लिम धर्म का यह महत्वपूर्ण त्योहार ईद-उल-जुहा जिसे हम बकरीद के नाम से भी जानते हैं इसी भावना को उजागर करता है।
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