इस बार एकादशी दो दिन रहने के कारण होलाष्टक 8 की बजाय 9 दिनों का रहेगा। 27 फरवारी से प्रारंभ होकर 7 मार्च होलिका दहन के दिन यह होलाष्टक समाप्त होगा। होलाष्टक के इन दिनों के अशुभ मानकर कोई भी मांगलिक कार्य नहीं किए जाते हैं। आओ जानते हैं सावधानियों के साथ कि होलाष्टक के दिन क्या करना चाहिए और क्या नहीं।
होलाष्टक के दिन क्या करना चाहिए- Holashtak me kya karna chahiye :
1. होलाष्टक में पूजा-पाठ करने और भगवान का स्मरण भजन करने से शुभ फल की प्राप्ति होती है।
2. मान्यता है कि होलाष्टक में कुछ विशेष उपाय करने से कई प्रकार के लाभ प्राप्त किए जा सकते हैं।
3. होलाष्टक के दौरान श्रीसूक्त व मंगल ऋण मोचन स्त्रोत का पाठ करना चाहिए जिससे आर्थिक संकट समाप्त होकर कर्ज मुक्ति मिलती है।
4. होलाष्टक के दौरान भगवान नृसिंह और हनुमानजी की पूजा करना चाहिए।
5. होलाष्टक के दौरान श्रीकृष्ण की की पूजा के साथ ही इस दौरान लड्डू गोपाल का पूजन कर संतान गोपाल मंत्र का जाप या गोपाल सहस्त्र नाम पाठ करवा कर अंत में शुद्ध घी व मिश्री से हवन करेंगे तो शीघ्र संतान प्राप्ति होती है।
6. होलाष्टक के दौरान किए गए व्रत और दिए गए दान से जीवन के कष्टों से मुक्ति मिलती है।
7. रोग से बचने के लिए शिव पूवा और महामृत्युंजय मंत्र का अनुष्ठान प्रारम्भ करवाएं, बाद में हवन करें।
8. विजय प्राप्ति हेतु आदित्यहृदय स्त्रोत, सुंदरकांड का पाठ या बगलामुखी मंत्र का जाप करें।
9. परिवार की समृद्धि, सुख शांति हेतु रामरक्षास्तोत्र, हनुमान चालीसा व विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ करें।
10. अपार धन-संपदा के लिए गुड़, कनेर के पुष्प, हल्दी की गांठ व पीली सरसों से हवन करें।
11. करियर में चमकदार सफलता के लिए जौ, तिल व शकर से हवन करें।
12. कन्या के विवाह हेतु-कात्यायनी मंत्रों का इन दिनों जाप करें।
13. सौभाग्य की प्राप्ति के लिए चावल,घी, केसर से हवन करें।
14. बच्चों का पढाई में मन नहीं लग रहा है तो गणपति अथर्वशीर्ष का पाठ करें। फिर मोदक व दूर्वा से हवन करें।
15. नवग्रह की कृपा प्राप्ति हेतु भगवान शिव का पंचामृत अभिषेक करें। ज्योतिष मान्यता के अनुसार अष्टमी को चंद्रमा, नवमी को सूर्य, दशमी को शनि, एकादशी को शुक्र, द्वादशी को गुरु, त्रयोदशी को बुध, चतुर्दशी को मंगल और पूर्णिमा को राहु उग्र स्वभाव में रहते हैं।
होलाष्टक 2021 में वर्जित कार्य- Holashtak me kya nahi karna chahiye:
1. विवाह करना
2. वाहन खरीदना
3. घर खरीदना
4. भूमि पूजन
5. गृहप्रवेश
6. 16 संस्कार
7. यज्ञ, हवन या होम
8. नया व्यापार शुरु करना
9. नए वस्त्र या कोई वस्तु खरीदना
10. यात्रा करना
11. नए गृह का निर्माण